
Acharya Bhawana Sharma
19 नवंबर को साल का आखिरी चंद्र ग्रहण, जानिए क्या होगा असर...?

हिन्दू परंपरा में ग्रहण का महत्वपूर्ण स्थान है। जैसा आप सभी को विदित है ग्रहण दो प्रकार के होते हैं- सूर्यग्रहण एवं चंद्रग्रहण। सूर्यग्रहण एवं चंद्रग्रहण भी मुख्यत: दो प्रकार के होते हैं- खग्रास और खंडग्रास। जब ग्रहण पूर्णरूपेण दृश्यमान होता है तो उसे 'खग्रास' एवं जब ग्रहण कुछ मात्रा में दृश्यमान होता है तब उसे 'खंडग्रास' कहा जाता है। ग्रहण का समस्त द्वादश राशियों पर व्यापक प्रभाव माना जाता है।
मांद्य स्वरूप में होने कारण दिखाई नहीं देगा। भारतवर्ष में दृश्यमान नहीं होने के कारण इस 'खंडग्रास चंद्रग्रहण' का धार्मिक दृष्टि से कोई महत्व नहीं होगा। अत: इस चंद्रग्रहण के सूतक के यम-नियम भारतवासियों पर लागू नहीं होंगे।
-खंडग्रास चंद्रग्रहण (भारत में दृश्य नहीं)- 19 नवंबर 2021 को 'खंडग्रास चंद्रग्रहण' होगा जो भारत में दृश्यमान नहीं होगा। यह ग्रहण मुख्य रूप से कनाड़ा, रूस, उत्तर-दक्षिण अमेरिका में दिखाई देगा, अत: भारत में इस चंद्रग्रहण के यम-नियम व सूतक मान्य नहीं होंगे।
ग्रहण का प्रवेश काल-11:32 अपराह्न, स्पर्श काल- 12:49 अपराह्न एवं मोक्ष- 4:17 मध्याह्न होगा।